Personal Loan vs Gold Loan : हर इंसान अपनी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए अथक प्रयास करता है, लेकिन फिर भी कभी-कभी उसके सामने ऐसी परिस्थितियां उत्पन्न हो जाती है, कि तमाम प्रयासों के बावजूद भी वह अपनी आवश्यकताओं के लिए रकम नहीं जुटा पाता। जी हां ऐसे ही लोगों की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए लोन की व्यवस्था की गई है। अगर आप आर्थिक तंगी से परेशान है, और फंड जुटाने के लिए किसी बेहतर विकल्प की तलाश कर रहे हैं।

तो आज हम आपको इस आर्टिकल के जरिए बताएंगे कि आप कौन सा लोन लेकर अपनी आवश्यकताओं को पूरा कर सकते हैं। जी हां यह आपके लिए बेहतर और सही विकल्प भी साबित हो सकता है।

कौन सा Loan है बेहतर

आज इस आर्टिकल में हम पर्सनल लोन और गोल्ड लोन दोनों के बारे में ही बात करेंगे। दोनों ही लोन के बीच में काफी अंतर है। जिन्हें आपको लोन लेने से पहले समझना बेहद आवश्यक है। आइए जानते हैं कि आपके लिए कौन सा लोन लेना बेहतर होगा और उसमें क्या खासियत है।

ब्याज दर में बड़ा अंतर

यहां पर्सनल लोन और गोल्ड लोन के बारे में बात की जा रही है। जहां पर्सनल लोन में ब्याज दर विशेषतया 11% से लेकर 18% के बीच में होती है, वही गोल्ड लोन पर आपको बहुत ही कम ब्याज दर मिलती है। जी हां गोल्ड लोन पर आप 9% से लेकर 10% तक की ब्याज दर पर आसानी से लोन उठा सकते हैं। ब्याज की दरों को देखते हुए पर्सनल लोन आपके लिए महंगा साबित होगा और गोल्ड लोन सस्ता। गोल्ड लोन में आपको ब्याज दर भी कम चुकानी पड़ेगी।

गारंटी जरूरी या नहीं?

आप अगर पर्सनल लोन और गोल्ड लोन लेना चाहते हैं, तो आपको पर्सनल लोन में किसी भी प्रकार की संपत्ति या प्रॉपर्टी को गिरवी रखने की आवश्यकता नहीं पड़ती। आप बिना कोई संपत्ति या प्रॉपर्टी गिरवी रखें आसानी से लोन उठा सकते हैं। इसलिए पर्सनल लोन असुरक्षित होता है। वही बात अगर गोल्ड लोन की करें, तो आपको गोल्ड लोन लेते समय सोने के गहने या सोने की छड़ों को गिरवी रखना पड़ता है।

जी हां बिना सोने के गहने या छड़े गिरवी रखें आप लोन नहीं उठा सकते। इसके साथ-साथ अगर कर्ज चुकाने में आपको जरा सी देरी या डिफॉल्ट हो जाए, तो आप का गिरवी रखा गहना और संपत्ति जब्त भी की जा सकती है।

प्रक्रिया और नियम

पर्सनल लोन और गोल्ड लोन लेने के बीच जो सबसे बड़ा अंतर होता है, वह होता है इसकी प्रक्रिया और नियम का। जी हां जहां गोल्ड लेना आपके लिए बहुत ही आसान होता है। आप अपने किसी भी नजदीकी बैंक या NBFC पर जाकर गोल्ड लोन के लिए अप्लाई कर सकते हैं। बस वह आपकी सोने की शुद्धता और वैल्यू चेक करेंगे और उस पर अधिकतम 75% वैल्यू तक का लोन प्रदान कर सकते हैं।

वहीं अगर आप पर्सनल लोन लेना चाहते हैं तो आपको किसी भी बैंक में अपनी आय क्रेडिट स्कोर, नौकरी का रिकॉर्ड और उम्र जैसे कई पहलुओं की जानकारी देनी होगी। रिजर्व बैंक द्वारा लोन टू वैल्यू (Ltv) की सीमा 75 फ़ीसदी निर्धारित की गई है।

कर्ज का आधार इनकम अथवा गहने

जहां पर्सनल लोन आपकी आय पर निर्भर होता है। जी हां पर्सनल लोन आप अपनी इनकम के आधार पर ले सकते हैं। आपकी इनकम के हिसाब से ही बैंक यह सुनिश्चित करता है कि EMI आपकी सैलरी का 50% से अधिक ना हो। वही गोल्ड लोन लेने से पहले आपके सोने की वैल्यू आंकी जाती है। जी हां जहां गोल्ड लोन सोने की वैल्यू पर आधारित होता है वही पर्सनल लोन आपकी इनकम पर।

कर्ज लेने का उद्देश्य

पर्सनल लोन लेने के कई कारण हो सकते हैं, जैसे शादी, यात्रा, लग्जरी आइटम खरीदना, जैसे किसी भी आवश्यक खर्च को पूरा करने के लिए पर्सनल लोन लिया जा सकता है। वही हम गोल्ड लोन विशेषतया आपातकालीन परिस्थितियों में ही लेते हैं, क्योंकि गहने परिवार की धरोहर माने जाते हैं। हम परिवार की छोटी-मोटी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए परिवार की धरोहर यानी गहनों को गिरवी नहीं रख सकते और ना ही रखना सही माना जाता है।

कौन सा लोन है बेहतर विकल्प

प्रत्येक व्यक्ति को लोन लेने से पहले हर पहलू पर विचार करना आवश्यक होता है। दोनों पहलुओं पर विचार करने के बाद अगर आप कम ब्याज और आसान प्रक्रिया की तलाश में है, और आपके पास गहने भी उपलब्ध है, तो आपके लिए गोल्ड लोन लेना बेहतर विकल्प साबित हो सकता है। वही अगर आप की स्थिति लोन लेने से पहले किसी प्रकार की गारंटी देने लायक नहीं है।

और आपकी इनकम सही है तो आपके लिए पर्सनल लोन बेहतर साबित हो सकता है। अब यह आप पर निर्भर करता है कि आप अपनी आवश्यकता और बजट के हिसाब से कौन से लोन का चयन करना चाहते हैं।

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